चुनावी सभा को संबोधित कर रही मायावती के निशाने पर सत्ताधारी एनडीए की जगह इंडिया गठबंधन में शामिल सपा रही

नई दिल्ली
बसपा अध्यक्ष मायावती ने मंगलवार को आरक्षण का मुद्दा उठाते हुए आरोप लगाया कि अखिलेश यादव की सपा नहीं चाहती कि अनुसूचित जाति (एससी) और अनुसूचित जनजाति (एसटी) वर्ग के लोगों को आरक्षण का लाभ मिले। मेरठ में चुनावी सभा को संबोधित कर रही मायावती के निशाने पर सत्ताधारी एनडीए की जगह इंडिया गठबंधन में शामिल सपा रही। मायावती ने यह भी दावा किया कि अगर उनकी पार्टी केंद्र की सत्ता में आयी तो पश्चिमी उत्‍तर प्रदेश को अलग राज्‍य बनाया जाएगा। बसपा प्रमुख ने मेरठ के लोहिया नगर क्षेत्र के अलीपुर मैदान में पार्टी उम्मीदवार देवव्रत कुमार त्यागी के समर्थन में चुनावी जनसभा को संबोधित किया। मेरठ में भाजपा ने रामायण के राम अरुण गोविल को मैदान में उतारा है। उनके मुकाबले सपा ने दलित प्रत्याशी सुनिता वर्मा को टिकट दिया है। माना जा रहा है कि दलित प्रत्याशी के कारण ही मायावती के निशाने पर यहां सपा रही है।

मायावती ने हालांकि भाजपा और कांग्रेस पर भी निशाना साधा लेकिन आरक्षण को लेकर उनके निशाने पर सपा ही रही। मायावती ने कहा कि सरकारी नौकरियों में दलितों, आदिवासियों को दिया जाने वाला आरक्षण वर्षों से अभी तक पूरा नहीं हुआ है। मायावती ने कहा कि उप्र में जब सपा की सरकार थी तब एससी-एसटी वर्ग के सरकारी कर्मचारियों को पदोन्नति में आरक्षण बिल्कुल खत्म कर दिया था।    बसपा प्रमुख ने आम मतदाताओं को सपा से सचेत करते हुए कहा कि एससी-एसटी के कर्मचारी वर्ग ऐसी पार्टी (सपा) को वोट देकर अपना वोट खराब करेंगे, जो आपके आरक्षण को खत्म करने के लिए पूरे जी जान से लगी हुई है।

उन्होंने आरोप लगाया कि सपा नहीं चाहती है कि एससी-एसटी वर्ग के लोगों को आरक्षण का लाभ मिले। मायावती ने सवाल पूछा कि जब पदोन्नति में आरक्षण को प्रभावी बनाने के लिए राज्यसभा में बसपा संशोधन विधेयक लेकर आई तो सपा सांसदों ने संसद में इस बिल को फाड़ दिया था। आप खुद ही बताइए कि ऐसी समाजवादी पार्टी दलितों शोषितों का क्या भला कर सकती है?

वहीं मायावती ने पश्चिमी क्षेत्र को मिलाकर अलग से राज्‍य बनाने का भी वादा किया। उन्होंने याद दिलाया कि उनकी सरकार ने प्रस्ताव पारित कर केंद्र सरकार के पास भेजा था लेकिन केंद्र सरकार ने उसे अमल में नहीं लाया। 2011 में मायावती सरकार ने उत्तर प्रदेश को विभाजित कर पूर्वांचल, पश्चिमी उप्र और बुंदेलखंड को अलग राज्‍य बनाने का प्रस्ताव पारित किया था। उन्होंने जोर देकर कहा कि केंद्र में हमारी पार्टी सत्ता में आयी तो पश्चिमी उप्र को अलग राज्य बनाया जाएगा। मायावती ने मेरठ लोकसभा सीट से बसपा उम्मीदवार को चुनाव जिताने की अपील की। मेरठ में दूसरे चरण के अंतर्गत 26 अप्रैल को मतदान होना है।

 

Source : Agency

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